Group D में रेलवे ने खत्म की ITI की अनिवार्यता
बिहार के डिप्टी CM की पहल पर रेलवे ने लिया बड़ा निर्णय
पटना, 23 फरवरी. रेलवे के परीक्षा देने वालों के लिए खुशखबरी है. खुशखबरी यह है कि रेलवे ने ग्रुप डी पदों के लिए ITI की अनिवार्यता समाप्त कर दी है. जिसका फायदा अब ज्यादा से ज्यादा परीक्षार्थी उठा पाएंगे. गौरतलब है कि अभी कुछ दिन पहले ही रेलवे के ग्रुप डी में ITI की अनिवार्यता को लेकर 5 हजार से ऊपर छात्रों ने आरा रेलवे स्टेशन पर बवाल काटा था.
लगभग 7 घण्टे तक ट्रेनों की आवागमन बाधित के साथ पथराव और हवाई फायरिंग में 2 दर्जन से ज्यादा जख्मी भी हुए थे. इसी को लेकर पटना स्टेशन पर 18 फरवरी को छात्रों ने हंगामा किया था. इस हंगामे के बाद बिहार के डिप्टी CM सुशील मोदी ने बच्चों के भविष्य को लेकर प्रयास ITI को से रेलवे की ग्रुप डी की परीक्षा से हटाने के लिए किया तो उनका यह सकरात्मक पहल काम कर गया. रेलवे के ग्रुप डी के पदों के लिए ITI की अनिवार्यता खत्म करने पर उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने रेलमंत्री पियूष गोयल को फोन करके बधाई दी है. उन्होंने कहा है कि ग्रुप डी के पदों के लिए मैट्रिक की योग्यता ही काफी है. ITI की अनिवार्यता खत्म होने से बिहार के लाखों युवकों को फार्म भरने और परीक्षा में शामिल होने का मौका मिलेगा.
बताते चलें कि सुशील मोदी ने बुधवार को रेल मंत्री से फोन पर बात कर ग्रुप डी के 62,900 पदों के लिए मैट्रिक के साथ ITI की अनिवार्यता को खत्म करने का आग्रह किया था. इसके पहले उन्होंने आयु सीमा में छूट देने की पहल की थी जिसके बाद रेलवे ने दो साल उम्र सीमा बढ़ाई और ग्रुप डी के लिए ITI की अनिवार्यता को खत्म कर दिया. सूमो ने कहा कि ग्रुप सी के तहत 26,500 असिस्टेंट लोको पायलट और तकनीकी पदों की रिक्तियों के लिए तो ITI की अर्हता स्वागतयोग्य है मगर ग्रुप डी के लिए यह जरूरी नहीं थी.
पटना नाउ ब्यूरो की रिपोर्ट