पटना के गांधी मैदान में आयोजित सरस मेले में हर दिन लोगों की भीड़ बढ़ रही है. विशेष रुप से महिलाओं का इसके प्रति उत्साह और रुझान देखते बन रहा है. जीविका( ग्रामीण विकास विभाग) द्वारा आयोजित सरस मेला में एक ओर जहां ग्रामीण शिल्प और व्यंजनों के स्टॉल सज गए हैं .वहीं इनमें से करीब 65 फीसदी स्टॉल महिलाओं के लिए हैं , जिनपर लोग ग्रामीण शिल्प और व्यंजन से रूबरू हो रहे हैं .
7 से 21 फरवरी तक चलने वाले इस मेला के पांचवे दिन मेले में लोगों की अच्छी- ख़ासी भीड़ उमड़ी . सरस मेला की बढ़ती लोकप्रियता और शनिवार के अवकाश के कारण लगभग पैंतीस से चालीस हजार लोगों की उपस्थिति यहां दर्ज हुई. लोगों ने खरीददारी तो की ही , इसके अलावा पशुपालन विभाग के द्वारा आयोजित इंफ्लुएंजा एवं बर्ड फ्लू पर आधारित सेमिनार , महिला विकास निगम के द्वारा पटना की रंग संस्था प्रयास के तत्वाधान मे बेटी बचाव अभियान के तहत नुक्कड़ नाटक और मुख्य मंच पर जादूगर वी ॰ सम्राट ले जादू के खेल का आनंद लिया .
इसके अलावा फूड जोन मे मशरूम का पकौड़ा , मकके की रोटी, चने की साग, खाजा , राजस्थानी कचौड़ी, बारा मिठाई , मराठी भोजन समेत कई तरह के वयंजनों का लोग स्वाद चख रहे हैं . शनिवार को मेले की सबसे बड़ी खासियत यह रही की निफ़्ट और अमेटी के छात्र- छात्राओं ने स्वयं सहता समूह की महिलाओं को उनके स्टाल पर खड़े होके उनके उत्पाद को बेचने मे मदद की और उन्हे सामान बेचने के तौर – तरीके के बारे मे बताया . इसके अलावा कारपेट, टेरकोटा, ड्राई फ्लावर के साथ- साथ सजावट और शृंगार के सामानो की खरीद- बिक्री खूब हो रही है . लेकिन सबसे ज्यादा वेलेंटाइन डे को देखते हुये आर्टिफिसियल फ्लावर की हो रही है .
सरस मेला के मुख्य सांस्कृतिक मंच भिखारी ठाकुर रंगभूमि पर शाम पाँच बजे से 7.30 बजे तक पटना की रंग संस्था स्वरांगन के लोक कलाकारों ने नृत्य एवं गीत की प्रस्तुति की, इन प्रस्तुतियों पर दर्शकों ने खूब आनंद उठाया, खासकर होली के गीतों पर . पुनः रविवार को भी मेला मे बड़ी संख्या मे लोगों का आने का अनुमान है .
इस बाबत आयोजकों के काफी तैयारी कर रखी है . सरस मेला परिसर मे सफाई और सुरक्षा वयवस्था कर रखी है . मेला का सबसे बड़ा आकर्षण है , पालना घर , यहाँ आगंतुक अपने- अपने छोटे- छोटे बच्चे- बच्चियों को खेल- खेल में जीवन के रंग सीखने के लिए छोड़कर मेला का आनद ले सकते हैं . मुख्य गेट के ठीक बगल मे नालंदा सत्तू के द्वारा जाँता से जीविका समूह की महिलाओं के द्वारा सत्तू का निर्माण भी लोगों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है . रविवार को भी पूर्व की तरह कार्यक्रम होंगे , महिला विकास निगम के द्वारा नुक्कड़ नाटक और स्वरांगन के द्वारा संस्कृति क्र्यक्रम के तहत डॉ॰ मंजय कश्यप और उषा कुमारी अपनी प्रस्तुति देंगे .