बदलते जीवन शैली में अहम है फिजियोथेरेपी




विश्व फिजियोथेरेपी डे

टेक्नोलॉजी से लैस इस 21वीं शताब्दी में लगभग हर काम को मशीनों ने आसान कर दिया

सर्वाइकल दर्द, पीठ दर्द कमर दर्द कोल्हो में दर्द और अन्य कई समस्याओं से ग्रसित है लोग

आदतों ने हमारे रोगों के प्रति लड़ने की क्षमता को खो दिया


डॉ रितेश कुमार

जीवन में हम हर रोज अलग-अलग परेशानियों से गुजर रहे हैं जिस तरह से हमारी जीवन शैली बदली है हमारा रहन-सहन और काम करने का तरीका बदला है हम अपने आप को काफी व्यस्त और अस्वस्थ पा रहे है .हम घंटों अपने आप को मोबाइल और कंप्यूटर से जोड़ रखे हैं जिससे हम अपने शरीर का ख्याल कम ही रख रहे हैं साथ ही साथ हमारा शरीर भी परिस्थितियों के अनुसार ढल रहा है .

अब बदलते जीवन शैली में हमारा शारीरिक परिश्रम एकदम से कम होता जा रहा है चाहे वो पुरुष हो या महिला,टेक्नोलॉजी से लैस इस 21वीं शताब्दी में लगभग हर काम को मशीनों ने आसान कर दिया है. जिसके कारण हमारा शारीरिक परिश्रम ना के बराबर हो रहा है बदलते दौर में हमारा खान पान भी काफी हद तक बदल चुका है. केमिकल युक्त और असमय भोजन और कुछ भी खा लेने की आदतों ने हमारे रोगों के प्रति लड़ने की क्षमता को खो दिया है , ऐसे में आपको अपने सेहत और स्वास्थ्य का ध्यान रखना अतिं आवश्यक है, ताकि आप इस बदलते दौर और बदलते जीवनशैली में अपने आप को स्वस्थ रख सके.

इसके लिए फिजियोथेरेपी एक कारगर उपाय साबित हो रहा है. बदलते जीवन शैली में मोबाइल और कंप्यूटर के घंटों इस्तेमाल से हम सभी अपने को सर्वाइकल दर्द, पीठ दर्द कमर दर्द कोल्हो में दर्द और अन्य कई समस्याओं से ग्रसित पा रहे है.इन नए रोगों का फिजियोथेरेपी (फिजिकल एक्सरसाइज) के तहत बिना दवाओ के प्रयोग के इलाज करने ने सक्षम है.


ये एक ऐसी पद्धति है जो नसों और मांसपेशियों को पहले की तरह मजबूत बनाती है तथा आपके रक्त संचार को सही करती है और आपको एक सरल और बिना दर्द का जीवन प्रदान करने में मदद करती है. आज विश्व फिजियोथेरेपी डे पे ये प्रण करे की आप अपने रोजमर्रा की आदतों को सुधार लाए और अगर आप भी ऐसे रोगों से ग्रसित है तो अपने आसपास के फिजियोथेरपिस्ट से जरूर संपर्क करे.

रवींद्र भारती

By pnc

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