पीएसडी लागत प्रभावी एवं उत्कृष्ट सुरक्षा उपकरण से लैस होगी
पटना: पटना मेट्रो रेल प्रोजेक्ट द्वारा मेट्रो ट्रेनों में प्रस्तावित प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर (पीएसडी) को अपनाने के लिए पूरी तरह तैयार है। मेट्रो ट्रेनों में पीएसडी प्रणाली न केवल लागत प्रभावी होगी बल्कि मेट्रो स्टेशनों पर बेहतर सुरक्षा प्रणाली भी सुनिश्चित करेगी। यह उत्कृष्ट सुरक्षा उपकरण से लैस होगी. मेट्रो के एलिवेटेड स्टेशनों पर आधी ऊंचाई वाले पीएसडी होंगे जबकि भूमिगत मेट्रो स्टेशनों पर पूरी ऊंचाई वाले पीएसडी होंगे.
प्लेटफ़ॉर्म स्क्रीन डोर्स (पीएसडी) क्या है
प्लेटफॉर्म को ट्रैक से अलग करने के लिए प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर (पीएसडी) का उपयोग किया जाता है. मेट्रो में पीएसडी दरवाजे तभी खुलते हैं जब ट्रेन अपने निर्धारित स्थान पर रुकती है. पीएसडी का नियंत्रण प्लेटफॉर्म की पूरी लंबाई के साथ तारतम्य में होता है. वहीं प्लेटफ़ॉर्म पर मौजूद पीएसडी ट्रेन के दरवाज़ों के साथ तारतम्य में काम करता है.
ट्रेन में प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर (पीएसडी) दुर्घटनाओं को रोकने एवं ट्रैक पर सामान गिरने से रोकने में सहायक होंगे. इन स्क्रीन डोर में प्लेटफॉर्म पर उत्कृष्ट सुरक्षा उपकरण लगे होंगे जो लोगों को ट्रैक पर गिरने से रोकने के लिए फिजिकल बैरियर/ अवरोध के रूप में कार्य करेंगे. ये न केवल मेट्रो की सुरक्षा बढ़ाने और दुर्घटनाओं को रोकने में सहायक होंगे बल्कि मेट्रो में अधिक भीड़ के समय भीड़ नियंत्रण में भी प्रभावी साबित होंगे.
मेट्रो ट्रेन में प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर (पीएसडी) के अनेक फायदे हैं, जैसे कि –
- प्लेटफॉर्म की चौड़ाई भी बढ़ जाएगी जिससे लोग ट्रैक पर गिरने के खतरे या आने वाली ट्रेन से टक्कर के जोखिम के बगैर पीएसडी गेट तक खड़े हो सकते हैं।
- पीएसडी सिस्टम के साथ ट्रेन के प्लेटफॉर्म पर आने की गति को बढ़ाया जा सकता है जिससे ट्रेनों का परिचालन बढ़ेगा।
- ये दरवाजे किफायती होंगे और भूमिगत स्टेशनों पर इनसे वातानुकूलन के प्रवाह में भी सुधार होगा। एमआरटीएस स्टेशन पर पीएसडी लगाने से ऊर्जा की खपत में बचत होगी और यात्रियों की सुरक्षा में मदद मिलेगी।
- पीएसडी सिस्टम रोलिंग स्टॉक डोर (मेट्रो ट्रेन) के साथ तारतम्य में काम करता है और इसके अंतर्निहित विशेषताओं जैसे बाधा की पहचान से लोगों के ट्रेन में चढ़ने और उतरने के समय सुरक्षा सुनिश्चित होती है।
- ये आधी ऊंचाई (फर्श से 1.5 मीटर ऊपर) और पूरी ऊंचाई (फर्श से 2.15 मीटर ऊपर) तक ट्रैक और प्लेटफॉर्म के बीच बैरियर का करती है जो कि ट्रैक को प्लेटफॉर्म से जहाँ यात्री खड़े होते है उस क्षेत्र से अलग करने का काम करता है।
- सामान्यतया भूमिगत एवं एलिवेटेड स्टेशनों के लिए पूरी ऊंचाई (2.15 मीटर) एवं आधी ऊंचाई (1.5 मीटर) का पीएसडी सिस्टम की अनुशंसा की जाती है। किसी मेट्रो प्रणाली को स्वचालित (Unattended Train Operation – UTO) में अपग्रेड करने के लिए पीएसडी सिस्टम का होना अत्यंत आवश्यक है।
पीएसडी सिस्टम में कई एडवांस फीचर्स एवं उच्चीकृत सुरक्षा प्रणाली भी आते हैं जैसे ऑटोमैटिक स्लाइडिंग डोर्स (ए एसडी), इमेरजेंसी एक्सिट डोर्स (ईईडी), प्लेटफॉर्म एंड डोर्स (पीईडी), इमेरजेंसी एस्केप डोर्स (ईईडी), प्लेटफॉर्म पर्यवेक्षण बूथ एवं अलार्म टर्मिनल, एचएमआई (चालक हेतु सूचना उपकरण), इमेरजेंसी की बॉक्स इत्यादि, जो यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करते हैं. - pncb