बिहार शाॅर्ट एवं डॉक्यूमेंट्री फिल्म महोत्सव 2016 संपन्न
बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम लिमिटेड (कला संस्कृति विभाग) द्वारा आयोजित तीन दिवसीय बिहार शाॅर्ट एवं डॉक्यूमेंट्री फिल्म महोत्सव 2016 का समापन पटना स्थित बहुद्देशीय सांस्कृतिक परिसर में हो गया. समापन समाराेह में पद्म विभूष्ाण सोनल मानसिंह, विकास आयुक्त शिशिर कुमार सिन्हा, युवा एवं कला संस्कृति विभाग के प्रधान सचिव चैतन्य प्रसाद और फिल्मकार अमिताभ घोष को बिहार राज्य फिल्म विकास एवं वित्त निगम लिमिटेड के एमडी गंगा कुमार ने सॉल और मोमेंटो देकर सम्मानित किया .
समापन समारोह को संबोध्ाित करते हुए पद्म विभूष्ाण सोनल मानसिंह ने कहा कि मगध की धरती पर आना उनके लिए सौभाग्य की बात है. फिल्म महोत्सव में प्रकाश झा निर्देशित फिल्म सोनल के प्रदर्शन के बाद उन्होंने अपनेे जीवन संघ्ार्ष, पारिवारिक पृृष्ठभूमि, भरत नाट्यम, छऊ नृत्य के अलावा कई विधाओं का अनुभव दर्शकों से साझा किया. उन्होंने कहा कि नृत्य सभी के जीवन में है सभी नृत्यकार हैं. बस फर्क इतना है कि आप उन्हें महसूस नहीं करते. आप सचेत नहीं हैं. उन्होंने कहा कि नृत्य के नियमित करना, शरीर को नियम से बांधना और उस नियम में प्राण फूंकना, यही नृत्य है.
60 के दशक की बात करते हुए उन्होंने कहा कि तब भारत में नृत्य और कला संस्कृति केे प्रति लोगों का लगाव था. अब तो वो चीजें विलुप्त हो रही हैं. उन्होंने कहा कि ओडसी और भरत नाट्यम दोनों बहनें हैं. इनसे भाव में बहुत समानता है और दोनों समानांतर चलता है. एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि जब राजीव गांधी के दौर में शिक्षा और संस्कृति का अलगाव कर दिया गया, तब से दोनों विभाग की दुर्गति हो गई. वहीं, युवा एवं कला संस्कृति विभाग के प्रधान सचिव चैतन्य प्रसाद ने कहा कि बिहार में इस तरह के फिल्म और संस्कृति के उत्सव का सिलसिला जारी है. अंतर्राष्ट्रीय फिल्मोत्सव, किन्नर महोत्सव, अभिनेता शत्रुघ्न सिन्हा अभिनित नाटक इसके अहम कड़ी हैं. उन्होंने कहा कि बिहार सरकार जल्द ही कला वर्क उत्सव का आयोजन करेगी. इसमें ध्रुपद कला, प्रदर्शन कला और क्षेत्रीय फिल्मों का प्रदर्शन होगा.
समापन समारोह को संबोधित करते हुए विकास आयुक्त शिशिर कुमार सिन्हा ने कहा कि सोनल मानसिंह केे नृत्य को उन्होंने पहले भी देखा है, मगर आज वे उनसे मिलकर गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं. तीन दिन तक चले इस समारोह के बारे में धन्यवाद ज्ञापन करते हुुए कला समीक्षक विनय कुमार ने कहा कि तीन दिनों तक चला बिहार शाॅर्ट एवं डॉक्यूमेंट्री फिल्म महोत्सव 2016 अब आंदोलन का रूप ले रहा है. इसके साक्षी पटना के सुधी दर्शक भी बने. उन्होंने आने वालों दिनों में इस तरह के आयोजनों को और बड़े स्तर पर करने की कामना की. वहीं समापन समारोह का संचालन कर रहे फिल्म समीक्षक विनोद अनुपम ने कहा कि तीनों दिनों के इस आयोजन ने बिहार में सिनेमा के भविष्य के लिए ढेर सारी उम्मीद पैदा कर दी है. जीवन और जगत के सवाल लोगों ने इस महोत्सव के जरिए प्रदर्शित फिल्मों के माध्यम से जानने का मौका मिला.
समापन समारोह का संचालन फिल्म संयोजक विनोद अनुपम नेे किया. वहीं, तीन दिनों तक चले बिहार शाॅर्ट एवं डॉक्यूमेंट्री फिल्म महोत्सव 2016 का संयोजन रविकांत ने किया और मीडिया को ऑर्डिनेशन रंजन सिन्हा ने किया. समारोह के अंतिम सत्र में नृत्य कार्यक्रम की प्रस्तुति भी हुई. वहीं आज दिखाई गई फिल्मों में लाइफ ऑफ गुरूवार गोविंद सिंह, गिरीश रंजन कृत विरासत, डॉक्यमेंट्री नालंदा, मानव भिंडर निर्देशित परिणीति चोपड़ा अभिनीत डॉक्यूमेंट्री फिल्म डोर, प्रकाश झा कृत डॉक्यूमेंट्री फिल्म सोनल प्रदर्शित किया गया.