CM’ योगी नहीं, ‘महंत’ योगी ही दिखे प्रदेश के मुखिया काल भैरव में

By Amit Verma May 27, 2017

मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी आदित्य नाथ काशी में पहली बार आगमन हुआ और कल के संगठन की मीटिंग के बाद मुख्यमंत्री सीधे नगर के कोतवाल काहे जाने वाले नौ ग्रहों के गुरु काल-भैरव के दर्शन के लिए अपने निर्धारित समय पर काल भैरव मंदिर पहुँचे. बताते चलें कि इस मंदिर में नाथ संप्रदाय के ब्राह्मण हैं जो मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ के आगमन का बेसब्री से इन्तजार कर रहे थे. पटना नाउ को एक दिन पूर्व में इन पुजारियों ने बताया था कि मुख्यमंत्री से परे वो तो अपने महंत का दर्शन करना चाहते हैं. हुआ भी यहीं सूबे के मुखिया के मंदिर में पहुँचने के बाद मंदिर के सारे पुजारी और महंत “महंत” योगी आदित्य नाथ की सेवा और दर्शन में लग गए. योगी ने काल-भैरव की विधिवत पूजा-अर्चना की. कई पीढ़ियों से पूजा कराने वाले गदीदार पुजारी ‘योगी प्रकाशनाथ योगेश्वर’ ने भैरवाष्टक पूजन करवाया.




मुख्यमंत्री ने इस पूजन में 1.25 लीटर तेल काल-भैरव को समर्पित किया. फिर उन्होंने नौ-ग्रह पूजन भी किया.
वैसे तो कोई भी अधिकारी, मंत्री या किसी पद पर आसीन ब्यक्ति हो भगवान की शरण में जाने के बाद जैसे उनका ही हो जाता है लेकिन CM योगी ने जिस तरह से विधि विधान और पुजारियों के साथ पूजा-अर्चना की वे गोरखनाथ मंदिर में पूजा- कार्य के लिए प्रख्यात कल-भैरव के मंदिर में भी महंत भाव में ही दिखे. सबसे खास बात यह रही कि पुजारियों ने इस रूप में उन्हें देखने की कामना की थी और एक साधक होने के नाते हो सकता है कि “महंत” योगी ने पुजारियों के जिज्ञासा को जान लिया हो. जो भी हो पर यह पल मंदिर के सभी लोगों के लिए एक यादगार बन गया.

वाराणसी से ओपी पांडे

 

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