ऊंचाई पर जंग लड़ने और काउंटर-इंनसर्जेंसी ऑपरेशंस यानी जवाबी कार्रवाई के एक्सपर्ट
रावत इंडियन आर्मी के 26वें चीफ होंगे
‘स्वार्ड ऑफ ऑनर से नवाजे जा चुके हैं बिपिन रावत
कश्मीर के एक्सपर्ट जाते है
सरकार ने आज नए आर्मी चीफ और एयरफोर्स चीफ के नाम का ऐलान किया. वरिष्ठता को दरकिनार कर सरकार ने लेफ्टिनेंट जनरल बिपिन रावत को नया आर्मी चीफ बनाया है. बिपिन रावत 31 दिसंबर को रिटायर हो रहे जनरल दलबीर सिंह की जगह लेंगे रावत इंडियन आर्मी के 26वें चीफ होंगे. रावत को ऊंचाई पर जंग लड़ने और काउंटर-इंनसर्जेंसी ऑपरेशंस यानी जवाबी कार्रवाई के एक्सपर्ट के तौर पर जाना जाता है.मूल रुप से उत्तराखंड के रहने वाले बिपिन रावत ने 1978 में आर्मी ज्वाइन की थी, तब वे 11वीं गोरखा राइफल्स की 5वीं बटालियन में थे.
जनवरी 1979 में आर्मी में मिजोरम में पहली नियुक्ति पाई.बिपिन रावत को आर्मी में ऊंचाई पर जंग लड़ने और काउंटर-इंनसर्जेंसी ऑपरेशंस यानी जवाबी कार्रवाई के एक्सपर्ट के तौर पर जाना जाता है. उन्हें कश्मीर का भी एक्सपर्ट माना जाता है.बिपिन रावत मीडिया-स्ट्रटेजी में डॉक्टरेट हैं. उन्होंने 2011 में चौधरी चरण सिंह यूनिवर्सिटी से मिलिट्री मीडिया स्टडीज में पीएचडी की डिग्री ली.अपने 38 साल की सर्विस में उन्होंने एलओसी, चीन बॉर्डर और नॉर्थ-ईस्ट में एक लंबा वक्त गुजारा है. साउथ कमांड की कमान संभालते हुए उन्होंने पाकिस्तान से सटी पश्चिमी सीमा पर मैकेनाइजड-वॉरफेयर के साथ-साथ एयरफोर्स और नेवी के साथ बेहतर तालमेल बैठाया. बिपिन रावत ने कश्मीर घाटी में पहले नेशनल राइफल्स में ब्रिगिडेयर और बाद में मेजर-जनरल के तौर पर इंफेंट्री डिवीजन की कमान संभाली.वह चाइनीज बॉर्डर पर कर्नल के तौर पर इंफेंट्री बटालियन की कमान भी संभाल चुके हैं.उन्हें इंडियन मिलिट्री एकेडमी (आईएमए) में ‘स्वार्ड ऑफ ऑनर से नवाजा जा चुका है. वह कांगो में संयुक्त राष्ट्र की पीसकीपिंग फोर्स की भी अगुवाई कर चुके हैं. बिपिन रावत ने 1 सितंबर 2016 को आर्मी के वाइस चीफ का पद संभाला. अब 31 दिसंबर 2016 को आर्मी चीफ की जिम्मेदारी संभालेंगे.