भोजपुरी समाज मे व्यापक आक्रोश
विगत कई दिनों से वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय की वेबसाइट बंद पड़ने के बाद एक बार फिर से पोर्टल खुलने लगा है. जिस पर छात्रों ने हर्ष व्यक्त किया है वहीँ दूसरी ओर भोजपुरी विषय के सिलेबसको वेबसाइट से हटाये जाने पर भोजपुरी के छात्रों और भोजपुरी के विद्वत जगत में नाराजगी भी है. ज्ञात हो कि वेबसाइट बंद होने की सूचना सबसे पहले भोजपुरी छात्र संघ ने ही विश्वविद्यालय प्रशासन को सौंपी थी तथा इसे चालू करने के साथ ही वेबसाइट पर सभी विषयों के चार वर्षीय स्नातक डिग्री के पाठ्यक्रम और प्रॉस्पेक्टस को अपलोड करने की मांग की थी.
वेबसाइट भी चालू हुई और सिलेबस भी अपलोड हुआ मगर कुल 29 विषयों की सूची में म्यूजिक और मैथिलि जैसे विषय शामिल हैं जिनकी पढ़ाई यहाँ नहीं होती लेकिन भोजपुरी में पूरे विश्व के एकमात्र उच्च शिक्षा संस्थान जहाँ बी ए से पीएचडी तक की पढ़ाई होती है उस विषय का सिलेबस तो दूर विषयों की सूची तक में उसका नाम शामिल नहीं किया गया है.
भोजपुरी छात्र संघ के सह संयोजक सोहित सिन्हा और अभिषेक प्रीतम ने बताया कि इस बाबत भोजपुरी विभागाध्यक्ष दिवाकर पाण्डेय और डी एस डब्लू रणविजय कुमार को सूचना भेजी जा रही है और सुधर नहीं होने की दिशा में आगे की रणनीति तय की जाएगी. इधर भोजपुरी बचाओ मोर्चा के अध्यक्ष रंगकर्मी ओ पी पाण्डेय, भोजपुरी गायक राजू कुमार, साहित्यकार आलोचक राजेश, सुनील कुमार ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर शुरू से ही भोजपुरी की उपेक्षा का आरोप लगाया है. ज्ञात हो कि पहले भी एक बार भोजपुरी की पढ़ाई बंद हुई थी जिसका तीव्र विरोध और आन्दोलन हुआ था.
आरा से सत्य प्रकाश सिंह की रिपोर्ट