वकील और उनके साथ काम करने वाले लोगों के समक्ष भूखमरी की समस्या
कर्ज में डूब रहे रहेें लाखों परिवार
बिहार के 150 न्यायालयों के लगभग 1.5 लाख अधिवक्ताओं, उनके सहयोगियों जैसे मुंशी …
पटना ; विधि प्रकोष्ठ भाजपा बिहार के संयोजक और हाईकोर्ट के एडवोकेट टी एन ठाकुर ने कहा है कि न्याय दिलाने वाले बिहार के 150 न्यायालयों के लगभग 1.5 लाख अधिवक्ताओं, उनके सहयोगियों जैसे मुंशी और अन्य लोगों के समक्ष भुखमरी की समस्या उत्पन्न हो गई है. कोरोना इफेक्ट के कारण जिला व अनुमंडल न्यायालयों में लगभग 18 माह से ठीक ढंग से कार्यवाही नहीं चल पा रही है.
दूसरी तरफ पटना उच्च न्यायालय में अभी 53 की जगह 20 जज है, वर्चुयल माध्यम से बहुत कम मामलों की सुनवाई हो पाती है.रेगुलर बेल और एन्टीसेपेट्री बेल के हजारो मामले पेंडिंग है जिनका बेल हो जाने की संभावना है वो भी महीनों महीनों से जेल मे बंद है.
सुप्रीम कोर्ट, इलाहाबाद उच्च न्यायालय ,गुजरात उच्च न्यायालय दिल्ली उच्च न्यायालय में है। बिहार में भी सभी सरकारी कार्यालय प्राईवेट संस्थान सभी खुल चुके है करोना के मामले भी एक दम कम हो गये हैं। वैक्सीन भी चार करोड़ लोग ले चुके है।
माननीय मुख्य न्यायाधीश पटना हाईकोर्ट संजय कैरोल से हम आग्रह करते हैं कि यथाशीघ्र बिहार के न्यायालयों समेत पटना हाईकोर्ट पटना मे कोविड गाईडलाईन का पालन करते हुए फिजिकल कोर्ट शुरू हो . जिससे लाखों परिवारों राहत मिल सके .