आज शाम छह बजे से होगी दो दिवसीय मंचन की शुरुआत,
परिवार में उपेक्षित वृद्धजनों पर आधारित है नाटक, देगा सकरात्मक संदेश
रंगमंच से जुड़े कलाकारों के साथ नवोदित कलाकार भी दिखाएंगे समाज को आईना
आरा,27 मई. वीर कुंवर सिंह स्टेडियम में भिखारी ठाकुर रचित सुप्रसिद्ध नाटक ‘गंगा स्नान’ का मंचन आज शाम छह बजे से होने के साथ ही दो दिवसीय मंचन की शुरुआत हो जायेगी. कोरोना काल के समय से जिले वासियों के मन में बने नकारात्मक माहौल को एक मनोरंजक प्रस्तुति के माध्यम से सकारात्मकता में बदलने के प्रयास में नाटक का मंचन किया जा रहा है.
प्रभाव क्रिएटिव सोसायटी के बैनर तले हो रहे नाटक के मंचन में ग्रामीण समाज में गंगा स्नान करने के महत्व को दिखाया गया है. गंगा स्नान मन और शरीर के शुद्धिकरण के लिए तो सभी जाते हैं लेकिन कैसे वे जीवन की मैली व्यवस्था में घिरे होते हैं जो स्नान से साफ नहीं हो सकता.
गंगा स्नान के समय जगह-जगह गंगा किनारे मेला लगता है धर्म के साथ ठगों का भी किस प्रकार आराजकता मेले में फैले रहता है जो धर्म और दूसरी चीजों पर वहां गए लोगों को लूटते हैं.
गंगा स्नान नाटक में एक परिवार को गंगा स्नान के लिए जाते दिखाया गया है, जिसमें एक बूढ़ी मां है जो परिवार द्वारा उपेक्षित है. इस नाटक में भिखारी ठाकुर ने गंगा स्नान के माध्यम से परिवार में बुज़ुर्गों की उपेक्षा को दिखाया है. नाटक का निर्देशन रंगकर्मी मनोज सिंह कर रहे हैं. वहीं गीत संगीत के माध्यम से इस नाटक को सजाया है श्याम शर्मिला ने.
पिछले 15 दिनों से चले नाटक कार्यशाला का समापन बुधवार को होने के बाद गुरुवार को देर शाम तक अंतिम रिहर्सल
नेशनल साइंटिफिक रिसर्च एंड एनालिसिस सेंटर, बड़ी मठिया के सभागार में कलाकारों ने किया.
अपनी प्रस्तुति के अंतिम चरण में तैयार नाटक ” गंगा स्नान ” के पूर्वाभ्यास में कलाकारों ने जम के पसीना बहाया. कलाकार आज होने वाली प्रस्तुति को लेकर काफी उत्साहित और ऊर्जायुक्त दिखे. कई बार नाटक के दृश्यों और म्यूजिक का सही इंट्री टाइमिंग के साथ पूर्वाभ्यास किया गया. कलाकारो ने कल शाम में प्रस्तुति स्थल वीर कुंवर सिंह स्टेडियम का भी जायजा भी लिया. कलाकार अपनी एंट्री और एग्जिट को लेकर प्रस्तुति से पहले कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं. कोरोना काल में सांस्कृतिक कार्यक्रम नही होने के बाद यह पहला मौका होगा जब नाटक की प्रस्तुति की जाएगी हालांकि इसके पूर्व पिछले साल अभिनव एवम एक्ट ने 20 दिवसीय कार्यशाला के बाद एक प्रस्तुति दी थी. लेकिन उसके बाद यह पहला मौका होगा जब किसी लोक नाटक की प्रस्तुति शहर में होगी. नाटक प्रेमी भी इस नाटक को देखने के लिए समय का बड़ी बेसब्री से इंतजार में हैं. नाटक में कई मंजे हुए कलाकार अपने अभिनय से दर्शकों का भरपूर मनोरंजन करेंगे।
पूर्वाभ्यास में वरिष्ठ रंगकर्मी अम्बुज कुमार,कार्यशाला व प्रस्तुति संयोजक मनोज श्रीवास्तव, नाट्य निर्देशक मनोज सिंह, संस्था के सचिव कमलेश कुंदन, लोक संगीतकार श्याम शर्मीला,खुशबू s स्पृहा, आशा पाण्डेय,राजन जी, युवा रंगकर्मी शुभम दूबे, प्रिंस शर्मा , दीपक तिवारी ट्रेन,कुणाल, रितेश टाइगर, मुकेश ओझा, रितु पाण्डेय,अभिषेक, राजू कुमार सिंह,सुन्दरम बाबा,अभय ओझा, हरिशंकर निराला डॉ पंकज भट्ट आदि उपस्थित थे. गुरुवार को पूर्वाभ्यास के दौरान प्रस्तुति में लगे बैक स्टेज के कलाकर भी नजर आए. अब देखना जबरदस्त होगा कि कलाकारों की मेहनत 27 और 28 मई को होने वाली प्रस्तुति में अपना कितना प्रभाव दर्शको पर छोड़ते हैं.
आरा से ओ पी पांडेय की रिपोर्ट