अब ऐप के जरिए होगी राजस्व कर्मियों की मॉनिटरिंग

By dnv md Apr 18, 2023 #Bihar land reforms

22 भाषाओं में देख सकेंगे जमाबंदी की डिटेल्स

पटना।। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने आज तीन-तीन नागरिक सुविधाओं को एक साथ बिहार की जनता को समर्पित किया. राजस्व कर्मचारियों से संबंधित ऐप को लांच किया गया जिसके जरिए राजस्व कर्मचारियों के कार्यों की मॉनिटरिंग एवं सरकार की विभिन्न कार्यों की समीक्षा की जाएगी. इसके साथ ही राज्य के सभी जमाबंदियों को स्वैच्छिक आधार पर मोबाइल एवं आधार से जोड़ने का अभियान भी शुरू किया गया है. इसके अतिरिक्त राज्य की जमाबंदियों को देश की सभी अधिसूचित एवं संविधान की 9वीं अनुसूची में शामिल भाषाओं में देखने की सुविधा का भी आज से शुभारंभ किया गया.




तीनों सेवाओं की शुरुआत राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के मंत्री श्री आलोक कुमार मेहता ने आज शास्त्रीनगर में आयोजित भूमि सुधार उपसमाहर्ताओं की 2 दिवसीय बैठक के पहले दिन मंगलवार को सर्वे प्रशिक्षण संस्थान सभागार में की. इस अवसर पर दक्षिण बिहार के सभी 19 जिलों के भूमि सुधार उपसमाहर्ताओं के अतिरिक्त विभाग के सचिव जय सिंह और विभाग के अपर मुख्य सचिव ब्रजेश मेहरोत्रा भी उपस्थित थे.

इस अवसर पर बांका सदर की भूमि सुधार उप समाहर्ता पारूल प्रिया को बेहतर कार्य के लिए राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग मंत्री आलोक कुमार मेहता द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया. बांका ने पूरे राज्य में 85.99 फीसदी अंकों के साथ तीसरा स्थान प्राप्त किया है. भूमि सुधार उपसमाहर्ताओं के कार्यों की हरेक माह समीक्षा की जाती है और उनकी मासिक रैंकिंग जारी की जाती है. इसमें उनके द्वारा किए जानेवाले कार्यों में अंचलों में हो रहे दाखिल-खारिज की समीक्षा, म्युटेशन अपील, बीएलडीआर एक्ट के तहत दाखिल मामलों का निपटारा आदि शामिल हैं.

इस मौके पर मंत्री आलोक मेहता ने कहा कि पिछले दिनों हमने राजस्व नक्षों की डोर स्टेप डिलीवरी, ई-मापी समेत कई तरह की सुविधाएं आमलोगों को दी हैं. विभाग की गतिविधियों को हमलोग लगातार पारदर्शी और जवाबदेह बना रहे हैं, यह प्रक्रिया आगे भी जारी रहेगी. उन्होंने भूमि सुधार उपसमाहर्ताओं से कहा कि उनका भूमि प्रबंधन में अहम स्थान हैं और अपील की है कि भूमि सुधार उप समाहर्ता अपना काम पूरी ईमानदारी से निष्पक्षता से करना जारी रखेंगे. उन्होंने यह भी कहा कि राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग आम लोगों से सीधे जुड़ा हुआ विभाग है इसलिए लोगों की सुविधा का ख्याल रखकर ही अधिकारी अपना कार्य करें.
राजस्व कर्मचारी ऐप का निर्माण राजस्व कर्मचारियों के उपयोग के लिए किया गया है. इस मोबाइल ऐप के माध्यम से राजस्व कर्मचारियों की मॉनिटरिंग तथा विभिन्न योजनाओं से संबंधित सर्वेक्षण तथा रिपोर्टिंग कराया जाएगा. सभी राजस्व कर्मचारी अपने मोबाइल पर प्राप्त ओटीपी को दर्ज करने के बाद मोबाइल ऐप में लॉगिन करेंगे तथा खुद को आवंटित कार्यों को ऑनलाइन पूरा करेंगे.
राज्य की सभी जमाबंदियों की स्वैच्छिक आधार पर मोबाइल एवं आधार संख्या से सीडिंग अभियान के तहत मोबाइल ऐप के साथ पूरे राज्य में एक साथ प्रत्येक जमाबंदी के जमाबंदी रैयत का स्वैच्छिक रूप से आधार, मोबाइल नंबर से संबंधित आंकड़ों की प्रविष्टि की जाएगी. रैयत की मृत्यु होने की स्थिति में परिवार के सदस्य का मोबाइल नंबर दर्ज किया जाएगा. संयुक्त जमाबंदी की स्थिति में स्वैच्छिक आधार पर सभी रैयतों की सूचना दर्ज की जाएगी. दाखिल-खारिज आवेदनों में इस अभियान के तहत प्राप्त सूचनाओं का उपयोग कर पारदर्शिता सुनिश्चित की जाएगी. इनके अतिरिक्त राज्य की सभी जमाबंदियों को देश के सभी अधिसूचित भाषाओं में देखने की सुविधा की भी आज शुरूआत की गई है. इसके अतिरिक्त कोई भी रैयत अपनी जमाबंदी को देश की अलग-अलग 22 भाषाओं में देखा जा सकेगा. इन 22 भाषाओं में बिहार में बोली जानेवाली हिन्दी, उर्दू और मैथिली शामिल है.

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