बाल युवा सांसदों ने विस अध्यक्ष के सामने रखी अपनी बातें

विस अध्यक्ष की वजह से विधायकों का बढ़ा है मान : बक्सर विधायक




बक्सर(ओ पी पांडेय). बक्सर नगर भवन में प्रवेश करते हॉल का नजारा कुछ अजीब था. ऐसा लग रहा था मानो किसी विधानसभा की कार्रवाई चल रही हो. लेकिन अंदर जाने पर दिखा कि बच्चे मंत्री और विपक्ष की भूमिका में बैठे सवाल जवाब कर रहे हैं और एक बच्ची ही अध्यक्ष की कुर्सी पर आसीन सबकी बातें सुन उन्हे दिशा निर्देश दे रही है. जी हां बिल्कुल ऐसा ही नजारा था और आगर आप यह सोच रहे होंगे कि बच्चे किसी नाटक का पूर्वाभ्यास या उसका दृश्यांकन कर रहे थे तो बिल्कुल गलत सोच रहे हैं. दरअसल मंगलवार को सामाजिक नैतिक संकल्प अभियान एवं बाल युवा संसद कार्यक्रम का आयोजन था जिसमें बच्चे ही जनप्रतिनिधि की भूमिका में थे. आजादी के अमृत महोत्सव और बिहार विधानसभा के शताब्दी वर्ष के मौके पर यह आयोजन सरकार की ओर से किया गया था. इस आयोजन के जरिए सरकार अपने पांच संकल्पो को जन – जन तक पहुंचाने का कार्य कर रही है, साथ ही इस क्षेत्र की समस्या को बच्चों के जरिए सुन रही है.

विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा को बुके देकर स्वागत करते बक्सर विधायक मुन्ना तिवारी

सामाजिक नैतिक संकल्प अभियान एवं बाल युवा संसद कार्यक्रम के लिए विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा
बक्सर तो सोमवार की रात को ही पहुंच गए थे. मंगलवार की सुबह वे चौसा भ्रमण के लिए सुबह ही निकल गए और जब सर्किट हाउस वापस लौटे तो उनका भव्य स्वागत बक्सर विधायक मुन्ना तिवारी ने गुलदस्ता,अंगवस्त्र व बक्सर की प्रसिद्ध सोनपापड़ी के साथ किया. इसके साथ ही पार्टी के भी कई नेताओं ने उनका स्वागत किया. मिलने – मिलाने के इस दौर के बाद अपने निर्धारित समय से विस अध्यक्ष और बक्सर विधायक के साथ सरकारी आलाधिकारियों का काफिला आयोजन स्थल पहुंचा. जहां बाल युवा संसद कार्यक्रम के लिए पहले से ही विभिन्न स्कूलों के बच्चे अपनी भूमिका में तैयार थे.

बक्सर नगर भवन का प्रेक्षागृह विधानसभा में तब्दील था. विपक्ष की भूमिका में बच्चों ने जहाँ बक्सर के विकास से सम्बंधित सवाल किये वही पक्ष की भूमिका में सदन में बैठे बच्चों ने उसका जवाब भी दिया. गोल मटोल जवाब पर सदन में बैठे सदस्यों के बीच बच्चों ने गोलमोल जवाब की जगह सटीक जवाब देने के लिए कहा तो सभागार ठहाकों से भर गया. सभागार में उपस्थित बिहार विधानसभा अध्यक्ष सहित अन्य गणमान्यों से भी हँसी रोकी नहीं गयी. नाटकीय दृश्य जरूर लग रहा था लेकिन ऐसा प्रतीत हो रह था जैसे सभी सदन में ही उपस्थित हों.

बच्चों के कुछ ऐसे थे सवाल :
बच्चों ने बक्सर के विकास से जुड़े कई सवाल किए लेकिन जब विस अध्यक्ष ने कुछ बच्चों को खड़ा कर उनसे बक्सर से जुड़े सवाल पूछने के लिए कहा तो बच्चों ने जो सवाल किए उसने सरकारी तंत्र की नींद उड़ा दी.

शुभम कुमार(डी बी स्कूल,डूमराव) – “सरकारी स्कूलों में गिरावट का क्या कारण है और सरकार इसे बेहतर क्यों नहीं कर रही है?” ,
रूद्र पाण्डेय(बी डी स्कूल) – “शराब बंद हो चुकी है लेकिन इसके बाद भी प्रदेश में हर साल जहरीली शराब पीने से मरते हैं कैसे ?”
काजल कुमारी, बक्सर – “बक्सर के कृषि पदार्थों को अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर क्यों नहीं बेचा जा रह है?”
साकिब अंसारी – “शौचालय और स्वच्छता कही धरातल पर नहीं दिखता है, जो हैं उनका मेंटेनेंस क्यों नहीं है?”

छात्र अमित कुमार, चौसा द्वारा पूछे गए सवाल “सरकारी वृक्षारोपण के बाद भी वृक्ष पनप क्यों नहीं रहे हैं ?”

डी ए वी के समर्थ वर्मा – “नमामि गंगे प्रोजेक्ट के बाद भी गंगा में कचरे का जमाव क्यों है?”

इन स्वालों के अलावे बक्सर कीअनुप्रिया सिंह की “बक्सर में भी बक्सर विश्वविद्यालय और मेडिकल कॉलेज बनाने की मांग, सानिया(नेहरु स्मारक विद्यालय) का “जल जमाव की समस्या”, ऋणी कुमारी(नवानगर) का “खेल और संस्कृतिक कार्यक्रम पर ध्यान क्यों नहीं दिया जाता है”, जैसे सवाल पूछे गए. बच्चों के इन सवालों में से कुछ का जवाब तो जनप्रतिनिधियों और विस अध्यक्ष द्वारा दिया गया लेकिन बाकि सवालों को सुरक्षित रखा गया ताकि उसपर सरकार काम कर सके.

इन सवालों के बाद विस के अध्यक्ष महोदय विजय कुमार सिन्हा ने बच्चों से पक्ष और विपक्ष दोनों से पूछे गए सवाल पर उसका निदान कैसे हो इसपर चर्चा करने को कहा. इस चर्चा में बच्चों ने अपने विवेक से अच्छे सुझाव और उपाय बताये. बच्चों द्वारा स्कूल में शिक्षा को बेहतर करने के लिए जब सवाल किया तो विस अध्यक्ष ने बच्चों से पक्ष और प्रतिपक्ष के रूप में बैठे सदन में बच्चों से पूछा कि इसके लिए विधायक और अधिकारियों की क्या भूमिका होनी चाहिए? इसपर बच्चों ने अपने-अपने बेहतर सुझाव दिए. फिर विस अध्यक्ष ने बच्चों से मौलिक अधिकारों और कर्तव्यों पर बोलने को कहा. बच्चों और उनके बीच सीधा संवाद होता रहा.

पांच सामाजिक संकल्पो की दिलाई शपथ

विस अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि शिक्षा का अधिकार सबको है लेकिन उसके लिए हम सभी का कर्तव्य है कि सबसे पहले परिवार से सीखें, उसके बाद समाज से और फिर स्कुल से शिक्षा ग्रहण करें. ये हर इन्सान का कर्तव्य है कि वह अपने घर को नशा मुक्त,अपराध मुक्त, बाल-विवाह मुक्त, बाल श्रम मुक्त, और दहेज़ मुक्त रखे साथ ही स्वच्छता युक्त,आयुष युक्त, विरासत युक्त और जल युक्त बनाये. उन्होंने सभागार में बच्चों समेत उपस्थित सभी लोगों उक्त विषयों के लिए शपथ भी दिलाया. साथ ही कहा कि हर घर डिजिटल युक्त हो.

जनप्रतिनिधियों ने भी रखी अपनी बात :

इस अवसर पर उपस्थित पूर्व विधायक श्रीकांत पाठक ने कहा कि ऐसा पहली बार हुआ है कि वर्तमान सरकार द्वारा पूर्व विधायक को भी बुला कर एक सम्मान दिया गया है. उन्होंने इसके लिए अपनी कृतज्ञता सभापति महोदय के प्रति जाहिर की.

वही डुमराव विधायक अजीत कुशवाहा ने बाल युवा संसद में बच्चों की बेबाकीपन को देखने के बाद ख़ुशी जाहिर करते हुए उम्मीद जताई कि आप सभी में से कोई न कोई विधानसभा जरुर पहुचेगा . ऐसी स्थिति में आपको ये जानना जरुरी है कि बड़े मंच पर कम समय में अपनी बातों को कैसे रखा जाए.

राजपुर विधायक विश्वनाथ राम ने अपने संवोधन में कह कि बच्चों के लिए वे हमेशा उपलब्ध हैं और स्कुल में कभी भी किसी प्रकार की जरुरत होने पर वे सदैव हाजिर रहेंगे.

इस मौके पर बक्सर विधायक मुन्ना तिवारी ने उपस्थित बच्चों और सज्जनों को संबोधित करते हुए कहा कि देश में विधानसभा की शताब्दी वर्ष के साथ ही रामानुज स्वामी का भी सहस्त्राब्दी समारोह मनाया जा रहा है. ऐसे पावन वर्ष में सरकार द्वारा बाल युवा संसद कार्यक्रम के जरिये सामाजिक और नैतिक संकल्पों को घर-घर तक पहुचाने का कार्य बेहद ही सराहनीय है. उन्होंने बच्चों के प्रतिभा और स्पस्ट बोलने से प्रसन्न होकर कहा कि स्कूलों में वे खुद विजिट करेंगे और शिक्षा को बेहतर कराएँगे. उन्होंने कहा कि वर्तमान विस अध्यक्ष के कारण ही सदन में विधायको का मान बढ़ा है. वे सरकार और विपक्ष के बीच एक ऐसी मजबूत पुलिया हैं जिसके सहारे सत्ता और विपक्ष एक डोर में बंधा है.

दिखाई गई लघु फिल्में :

कार्यक्रम में दो लघु फिल्म भी दिखाया गया जिसमें एक विधानसभा के ऊपर बनी फिल्म थी वही एक मानवीय गुणों को विकसित करने लिए प्रेरित करने वाली फिल्म थी. इस मौके पर बच्चों को पुरस्कृत भी किया गया वही जनप्रतिनिधियों को संकल्प प्रमाण पत्र भी विस अध्यक्ष ने खुद अपने हाथों से दिया.

सभा का संपन्न राष्ट्रगीत से हुआ. इस मौके पर बक्सर जिलाधिकारी, डीडीसी, आरक्षी अधीक्षक, सदर अनुमंडलाधिकारी, जिला शिक्षा पदाधिकारी समेत कई पदाधिकारी मौजूद थे.

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