साथ न छूटे, सांस न टूटे… यही संकल्प हमारा

कोरोना काल बना सेवा काल

सेवा का पर्याय बनी कोविड फाइटर्स, कोविड हेल्प और टीम प्रचंड




आरा. कल तक कहा जाता था कि सोशल मीडिया केवल समय बर्बाद करने की जगह है, पर कोरोना काल में यह धारणा बदल रही है. इसी सोशल मीडिया के दम पर व्हाट्सअप और फेसबुक पर बने कोविड फाइटर्स, कोविड हेल्प और टीम प्रचंड ने हजारों जिंदगियां बचाई है. कोविड फाइटर्स और कोविड हेल्प के एडमिन विभागीय प्रबंधक और प्रदेश कार्यसमिति सदस्य भाजयुमो इंजीनियर निशि कांत राय हैं तो सह एडमिन विकाश रंजन ओझा, समीर श्रीवास्तव, पाणिनि तिवारी, मनीष प्रकाश, संदीप तिवारी, राहुल, दीपिका, मृगांक, प्रशांत, अभिमन्यु सिंह हैं.
टीम प्रचंड के एडमिन रवि नन्दन, प्रोफेसर पवन विजय और आकाश पांडेय तो सह एडमिन इंजीनियर निशि कांत राय, प्रोफेसर पवन विजय, विनय तिवारी, विपिन तिवारी और अमित पंसारी,अशुतोष मिश्रा हैं.

दो महीने पहले जब कोरोना की दूसरी लहर देश में पाँव पसारने लगी और असहाय मरीज अस्पताल में बेड, ऑक्सीजन, आईसीयू के लिए दर दर भटकने लगे तब पीएम मोदी के आह्वाहन पर व्हाट्सअप फेसबुक पर बने इस ग्रुप के युवक युवतियों ने कमान संभाल ली. देश के हर हिस्से के अस्पतालों में बेड की उपलब्धता, प्लाजमा ऑक्सीजन सिलिंडर और रिफिल, इंजेक्शन सुविधा आदि की जानकारी इकट्ठा कर के जरूरतमंदों की सहायता करने का सिलसिला प्रारम्भ हुआ जो तब से लगातार चल रहा है. मात्र 300 सौ लड़कों की टीम धीरे-धीरे बढ़ने लगी और इस समय कश्मीर से कन्याकुमारी तक, गुजरात से अंडमान तक , राजथान से सिक्किम तक पाँच हजार लड़के इस ग्रुप में काम कर रहे हैं. देश के किसी भी शहर में यदि किसी को कोई आवश्यकता हो तो कोविड फाइटर्स, कोविड हेल्प और टीम प्रचंड के ये स्वयंसेवक तुरन्त उसकी व्यवस्था करने में जुट जाते हैं और अधिकांश केस में इन्हें सफलता प्राप्त होती है

टीम को पूर्व मंत्री रामकृपाल यादव, भाजपा नेता मुक्तेश्वर ओझा, आरा सांसद सह मंत्री आर के सिंह, टीम अभिमन्यु के संरक्षक अभिमन्यु यादव सहित कई मंत्री, आईएएस आईपीएस राजनेता भी इस कार्य मे पर्दे के पीछे से समर्थन कर रहे हैं.

तीनों टीम एक ही है और टीम का पंच लाइन है
“साथी साथ न छूटे, किसी की सांस न टूटे, यत्र तत्र सर्वत्र”

बेड और ऑक्सीजन की उपलब्धता सुलभ होते ही टीम का फोकस ब्लैक फंगस, ब्लड डोनेशन और ग्रामीण क्षेत्रो पर है. अभी तक लगभग 3800 लोगो को बेड, ऑक्सीजन, इंजेक्शन उपलब्ध कराया जा चुका है तो लगभग 150 लोगो को प्लाजमा.

आरा जिला के बारा ग्राम निवासी निशिकांत राय और आरा निवासी समाजसेवी समीर श्रीवास्तव ने बताया कि टीम प्रचंड की शुरुआत दो साल पहले हुई थी जब गाँव देहात के असहाय लोगों को कानूनी मदद दिलाने के लिए फेसबुक ट्विटर पर कैम्पेन चलाने के उद्देश्य से इसका गठन हुआ था फिर जैसे ही करोना कि दूसरी वेव आई इसे विस्तार देते हुए कोविड हेल्प और कोविड फाइटर्स नाम के दो ग्रुप व्हाट्सअप पर भी बनाए गए जिससे कि टीम की व्यापक पहुँच हो और कोई केस छूटे न.

पूर्व विधायक मुन्नी देवी के पुत्र और टीम सदस्य विकाश रंजन ओझा का कहना है टीम अभिमन्यु के संरक्षक अभिमन्यु यादव का भी टीम को भरपूर सहयोग है साथ ही कहा कि टीम का फोकस अब ब्लैक फंगस और ब्लड डोनेशन पर है. इनकी बातों को आगे बढ़ाते हुए निशिकांत राय और समाजसेवी समीर श्रीवास्तव बताते हैं कि सरकार की सजगता से चुकी अब बेड ऑक्सीजन सुलभ हो चुका है इसीलिए हमने अपना फोकस दूसरी चीजों पर शिफ्ट किया है अब ग्रामीण क्षेत्रो पर  फोकस हैं.

टीम अबतक 338 लोगो को लगभग 1000 यूनिट ब्लड उपलब्ध करवा चुकी है वही 42 ब्लैक फंगस से पीड़ित मरीजों को एडमिट करवा उनका इलाज शुरू करवा चुकी है.

क्या करती है टीम?

करोना काल में टीम का मुख्य कार्य है सरकार और सिस्टम से समन्वय बना जरूरतमंद को सुविधा उपलब्ध कराना. टीम प्रचंड के एडमिन मुजफ्फरपुर निवासी रवि नन्दन और सह एडमिन निशि कांत राय बताते हैं कि प्रोफेसर पवन विजय के नेतृत्व में टीम उनके निजी खर्चे से राशन,दवाई और जरूरी घरेलू समानों का वितरण भी व्यापक स्तर पर गाँव-गाँव मे करवा रही है जिसमे कमलेश सिंह सहयोग कर रहे हैं तो अस्पतालों से समन्वय का कार्य IIM रोहतक से पढ़े राहुल के साथ मृगांक, दीपिका, प्रशांत शेखर, सुमंत्रा गोस्वामी, अभिमन्यु सिंह, अशुतोष मिश्रा, प्रीति श्रीवास्तव, सौम्या प्रियरंजन शर्मा, उमेश और आराधना राय इत्यादि देखती हैं.

ब्लड डोनेशन हेतु रेडक्रॉस से समन्वय का कार्य कुमार मंगलम, प्रतीक विराट, अभिमन्यु सिंह, शिवम झा, , मोनू सिंह, हिमांशु राव, देव मोटवानी, सौरव स्नेह मिश्रा, विभु जैन, अमित पंसारी, विपिन तिवारी,रमेश सुदामा,पुष्कर मिश्रा इत्यादि देखते हैं.

इंजेक्शन से सम्बंधित कार्य उमेश शर्मा, दीपिका, पाणिनि तिवारी, मनीष प्रकाश, ऋषभ शेठ, प्रशांत इत्यादि देखते हैं.

टीम आपसी समन्वय के साथ  बेहतरीन कार्य कर रही है जिनमे टीम की महिला सदस्यों दीपिका दीक्षित, सौम्या मिश्रा, अनुप्रिया सिंह, आराधना राय, वफ़ा फराज प्रीति श्रीवास्तव, नेह अग्रवाल, कोमल अग्रवाल का बहुत बड़ा योगदान है ये हमारी टीम की रीढ़ की हड्डी हैं।.

ग्रामीण क्षेत्रों में दवाई वितरण कार्य पवन अर्पित, संदीप तिवारी,विक्की सिंह परमार, बिट्टू राजपूत, सतानंद ओझा, सोनु पांडेय, अमन राय, पवन राय, रितेश राय सम्भाल रहे हैं.

केसेज, टीम, सरकार और प्रशासन के साथ समन्वय का कार्य निशि कांत राय, रवि नन्दन, समीर श्रीवास्तव, विकाश रंजन ओझा, प्रवीण शेखर, पाणिनि तिवारी, मनीष प्रकाश, अमित पंसारी, दीपिका, राहुल मृगांक, विपिन, अमितेश राय और आकाश पांडेय का है.

टीम के प्रमुख सदस्यों में प्रवीण शेखर, रमेश सुदामा, संदीप तिवारी, पवन अर्पित, सतानंद ओझा, इंजीनियर प्रवीण पांडेय , प्रधान मनोज राय,दीपक अवस्थी, देव मोटवानी, पंडित लोकेश, विपिन तिवारी, विनय तिवारी, अभिनव प्रथम,बिक्की सिंह परमार, प्रभात जयसवाल, बिट्टू राजपूत, विवेक शाही, अमितेश राय, कमलेश कदम, योगेश मिश्रा डॉक्टर हिमांशु, अमित सिंह, अमित पंसारी, नीरज मिश्र, अमित सिंह , बघेल, योगेश सिंह, धीरज मिश्र,वेदांत मिश्रा, जितेन्द्र प्रताप सिंह, आरव शुक्ला, अभिनव शुक्ला, गौरव शुक्ला, प्रकाश सिंह गढ़वाल, ऋषभ सेठ, धीरज राय, अनीश सिंह, शशांक शेखर, मनोज दुबे, प्रतीक विराट , विभु जैन, पुष्कर मिश्रा, कौशल यादव, सोनु पांडेय, शैलेश राय, विनय ओझा, नन्दू पांडेय,संकर्षण शुक्ला, ललित दीनानाथ सिंह, पवन राय, अमन राय, सुजीत श्रीवास्तव, दीपक तिवारी, विनीत गुंजन, सौरभ मिश्र, आयुष, नितिन यादव आदि हैं.

टीम अन्य हजारों सदस्य समाज के अन्य युवकों के लिए आदर्श हैं, जो सिद्ध कर रहे हैं कि मानवता अभी भी जिंदा है और कभी समाप्त नहीं होगी. टीम में इंजीनियर, डॉक्टर, शिक्षक, जज, रजिस्ट्रार वित्तीय विशेषज्ञ, प्रोफेसर, उद्धमी, समाजसेवी, फौजी, सरकारी अधिकारी, वकील विद्यार्थी जुड़े हुए हैं.

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