आरा (ओम प्रकाश पाण्डेय की रिपोर्ट) | बिहार में जहाँ तरक्की की कहानी गढ़ नीतीश कुमार ने अपना चेहरा विकास कुमार का बनाया है, उसमें मुख्य भूमिका निभाई है उनके सरकार में बनाई गई सड़कें. बहरहाल सड़कें भी अच्छी बनी दिख रही थीं मगर इन अच्छी बनी सड़को में गुणवत्ता की पोल अब खुलने लगी है जब बिहार में बारिश ने अपने पाँव जमाये है ….
गड्ढे और उनमें जमा पानी किसी को भी गिराने या कहे कि उसे गंदा करने के लिए काफी हैं.
बिहार सरकार के पथ निर्माण मंत्री नन्द किशोर यादव ने कहा कि बिहार सरकार इस मामले पर बहुत सख़्त है और अगर ऐसा है तो इसपे निश्चित ही कार्यवाही होगी, लेकिन आश्चर्य तब हुआ जब उन्होंने कहा कि बिहार की सारी सड़के मैं नही बनाता. उन्होंने कहा कि मैं सिर्फ पथ निर्माण विभाग से जुड़ी सड़के ही बनाता हूँ और मामला भी यही है कि NH (नेशनल हाईवे) की सड़कें नहीं बल्कि SH (स्टेट हाईवे) की स्तिथि ही जर्जर होना शुरू हो चुकी है.
जब सड़कें दिखा सरकार अपनी पीठ थपथपा रही होती है तो आम जनता को लगता है कि सरकार ही सारी सड़कें बना रही है. इससे आम जनता को क्या मतलब कि कौन SH है और कौन NH.
मंत्री जी ने ये आश्वस्त किया कि कही भी सड़कें टूटी हुई या कही भी सड़क में गड्ढे दिखाई दे, आप हमें बताए, हम किसी भी कीमत पर गुणवत्ता में कोई समझौता नहीं करेंगे और संबंधित लोगों पर कड़ी कार्यवाई करेंगे.
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